जब शेयर मार्किट का अस्तित्व भी नहीं था तब से लोग यह ट्रेडिंग करते आ रहे हैं। कमोडिटी ट्रेडिंग प्रकृति से प्राप्त होने वाली वस्तुओं की खरीद फरोख्त से है जिन्हे दैनिक जीवन में इस्तेमाल में लिया जाता है। जो कच्चे तेल से ले कर कृषि उपज तक होती हैं। यह सदियों से वैश्विक व्यापार की रीढ़ रही है।
इस लेख में, हम कमोडिटी ट्रेडिंग के बारे में सब कुछ जानेंगे—यह क्या है, यह कैसे काम करता है, और यह निवेशकों को क्यों आकर्षित करता है।
शेयर मार्किट की तरह कमोडिटी मार्किट की भी अपनी एक एक्सचेंज है। जहां पर ट्रेडर एनर्जी ,मेटल्स और एग्रीकल्चर आदि में ट्रेड करते हैं। भारत में इस तरह की २० + एक्सचेंज हैं। ये सभी एक्सचेंज “Securities and Exchange Board of India ” की निगरानी में काम करती हैं।
भारत में कमोडिटी एक्सचैंजेस
भारत में मुख्य रूप से ६ बड़ी कमोडिटी एक्सचेंज हैं। जिनके नाम हैं :
National Multi Commodity Exchange India (NMCE)
National Commodity and Derivative Exchange (NCDEX)
Multi Commodity Exchange of India (MCX)
Indian Commodity Exchange (ICEX)
National Stock Exchange (NSE)
Bombay Stock Exchange (BSE)
ये सभी एक्सचेंज “Securities and Exchange Board of India ” की निगरानी में सभी ट्रेडर्स को एक प्लेटफार्म प्रदान करती है।
कमोडिटी मार्किट में ट्रेड करने के कितने तरीके हैं ?
कमोडिटी मार्किट में ट्रेड करने के 5 तरिके हैं , Spot trading, Futures Contract ,Options Contract , Commodity ETF और Commodity shares।
Spot trading:
स्पॉट ट्रेडिंग में ट्रेडर्स physical Commodity को buy या sell करते है। यदि कोई ट्रेडर स्पॉट ट्रेडिंग में खरीदारी करता है तोउसको वह कमोडिटी डिलीवर कर दी जाती है। इसी तरह यदि कोई अपनी फिजिकल कमोडिटी को बेचता है तो उस से वह डिलीवरी ले ली जाती है।
Futures Contract:
Futures Contract में ट्रेडर पहले से तय किये हुए मूल्यों पर किसी कमोडिटी को खरीदता या बेचता है जिसकी डिलीवरी उसे भविष्य में निश्चित समय के पश्चात् ही प्राप्त होती है। Futures Contract पूरी तरह डिमांड और supply के नियम पर आधारित है।
Options contract:
इसमें ट्रेडर को ट्रेड करने का तो अधिकार है लेकिन वह कमोडिटी को खरीदने या बेचने के लिए बाध्य नहीं है। Options ट्रेडिंग वो लोग करते है जो मार्किट प्राइस के मूवमेंट के आधार पूर्वानुमान लगाते हैं कि प्राइस ऊपर जायेगा या निचे। यह ट्रेडिंग सब से ज्यादा प्रचलित है।
Commodity ETF:
ETF की फुल Form है Exchange Traded Fund। ETF वो फण्ड होते है जो किसी इंडेक्स पर आधारित होते है यदि इंडेक्स का प्राइस ऊपर जाता है तो इसके भी प्राइस ऊपर जाते है यदि इंडेक्स के प्राइस निचे जाते है तो इसके भी राइस निचे जाते है। इसमें सबसे बड़ी समस्या यही है कि इसमें वॉल्यूम बहुत कम होता है जिस से आपको शेयर बेचने में प्रॉब्लम आ सकती है। इसमें इन्वेस्टर अपनी खरीदी हुई सम्पति की फिजिकल डिलीवरी प्राप्त नहीं करता।
Commodity Shares:
यह बहुत दिलचस्प तरीका है कमोडिटी मार्किट में इन्वेस्ट करने का। क्यों कि कमोडिटी मार्किट में ट्रेडर किसी भी कमोडिटी को खरीदने या बेचने के लिए ट्रेड करते है और बदले में ट्रेडर्स को उस खरीदी / बेची हुई कमोडिटी की फिजिकल डिलीवरी प्राप्त होती है। तो इसलिए जो इन्वेस्टर फिजिकल कमोडिटी में ट्रेड नहीं करना चाहते वो उस से सम्बंधित कंपनी में इन्वेस्ट करते है जैसे क्रूड आयल बनाने वाली कंपनी।
अब आप ये तो समझ गए है कि कमोडिटी ट्रेडिंग क्या होती है यह कितने तरीको से की जा सकती है। अब हम जानेंगे कि कमोडिटी की कितनी श्रेणियाँ होती है।
Types of Categories in Commodity market
Metal:
मागभग जितने भी तरह के मटेल होते है वो सभी कमोडिटी मार्किट में ट्रेड किये जाए है जैसे सोना , चांदी , प्लैटिनम , आयरन ,एल्युमीनियम , कॉपर और निकेल आदि। ट्रेडर के पास मेटल में निवेश करने के लिए बहुत सारे विकल्प बहुत मौजूद होते हैं।
Energy Goods:
ऐसा कई बार होता है metal में निवेश करने के लिए अच्छे अवसर नहीं प्राप्त होते तब इन्वेस्टर एनर्जी से सम्बन्धित सामान जैसे नेचुरल गैस और आयल में निवेश कर सकता है । यूरेनियम , इथेनॉल , कोल् और बिजली भी एनर्जी कमोडिटी में शामिल है।
Agricultural Goods:
एग्रीकल्चरल गुड्स में में बहुत सी वैरायटी शामिल है। जो कमोडिटी को विशेष बनाती है। इसमें चीनी , कपास , बहुत तरह के अनाज , अंडे , कोकोआ आदि शामिल है।
Environmental Goods:
कमोडिटी मार्किट में ट्रेड करने के लिए बहुत सारे प्रोडक्ट शामिल है जो इस मार्किट को विशेष और बड़ी बनाती है। renewable energy, carbon emissions, and white certificates इन्ही में से एक है।
List of Commodities & Indices Available for Trading on MCX
1 ALUMINI
2 ALUMINIUM
3 COPPER
4 COTTON
5 CRUDEOILM
6 CRUDEOIL
7 GOLD
8 GOLDGUINEA
9 GOLDM
10 GOLDPETAL
11 KAPAS
12 LEADMINI
13 LEAD
14 MENTHAOIL
15 NATGASMINI
16 NATURALGAS
17 NICKEL
18 SILVER
19 SILVERM
20 SILVERMIC
21 STEELREBAR
22 ZINCMINI
23 ZINC
24 MCXBULLDEX
25 MCXMETLDEX
अब आपको ये तो जानकारी हो गयी कि कमोडिटी ट्रेडिंग क्या होती है। मैं जनता हूँ कि अब ये जानना चाहेगे कि कमोडिटी मार्किट में ट्रेडिंग कैसे शुरू करें तो चलिए शुरू करते हैं :
How to start Commodity Trading
ट्रेडिंग शुरू करने के लिए आपको सब से पहले एक ट्रेडिंग अकाउंट की जरूरत होगी जिसे दमत अकाउंट भी कहते हैं। डीमैट अकाउंट ओपन करने के लिए आपको किसी ब्रोकर की वेबसाइट पर जाकर रजिस्ट्रेशन कराना होगा।
डीमैट अकाउंट ओपन करने के लिए आपके पास आपका पहचान पत्र, पैन कार्ड और आधार कार्ड होने जरूरी हैं ।
ट्रेडिंग आकउंट ओपन करने से पहले यह सुनिश्चित कर लें कि आपका जिस बैंक में अकाउंट है उसमे ट्रेड करने के लिए प्रयाप्त धनराशि है। क्यों कि यही बैंक अकाउंट आपके डीमैट अकाउंट से लिंक किया जायेगा।
आपके पास ट्रेडिंग करने की अच्छी जानकारी होनी चाहिए और इसके लिए आप बुक्स के मदद ले सकते हो। किसी ट्रेडर से ट्रेंनिंग ले सकते हो और जानकारी बढ़ने के लिए मार्किट से सम्बंधित खबरे भी आपकी सहायता कर सकती है।
ट्रेडिंग करने के लिए आपके पास एक अच्छा कप्यूटर भी होना चाहिए। एक ऐसा कंप्यूटर जो कई घंटे बिना रुके आराम से चल सके।
और अब जो सबसे महत्वपूर्ण है वो यह कि आपके पास अपनी एक ट्रेडिंग स्ट्रेटेजी होनी चाहिए। जिसके आधार पर आप यह निश्चित कर सके कि कब ट्रेड में एंट्री लेनी है और कब ट्रेड से exit करना है।
आशा करता हूँ आपको मेरे द्वारा दी गयी यह जानकारी जरूर पसंद आएगी। यदि आपके कोई भी सुझाव या सवाल है तो आप कमैंट्स में लिख सकते है।
Good Luck Happy trading